नई दिल्ली । समाजवादी पार्टी (सपा) के सांसद रमाशंकर राजभर ने भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) पर तीखा हमला बोला है। उन्होंने जीएसटी, आजम खान की रिहाई, मीट शॉप विवाद और गरबा विवाद पर अपनी राय रखते हुए बीजेपी की नीतियों और कार्यशैली पर सवाल उठाए।
रमाशंकर राजभर ने जीएसटी को लेकर बीजेपी पर निशाना साधते हुए कहा, “जीएसटी किसने लगाया? पंडित नेहरू ने तो नहीं लगाया। आपने लगाया, आप ही घटाएंगे और जश्न भी आप ही मनाएंगे। 55 लाख करोड़ रुपए जनता से वसूले गए, इसे तो लूट महोत्सव कहना चाहिए। बीजेपी को इसके लिए प्रायश्चित करना चाहिए। बीजेपी की नीतियों ने देश को आठ साल पीछे धकेल दिया है।”
समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता आजम खान की रिहाई पर उन्होंने खुशी जताते हुए कहा, “सत्य की जीत हुई है। समाजवादी पार्टी का प्रत्येक कार्यकर्ता और उत्तर प्रदेश सहित देशभर के सपा समर्थक इस फैसले से खुश हैं। यह सपा की नैतिक जीत है।”
मीट शॉप विवाद पर रमाशंकर राजभर ने बीजेपी पर तर्कहीनता का आरोप लगाया। उन्होंने कहा, “हम अपने धर्म को नहीं छोड़ सकते। हिंदू धर्म के लोग मीट, मुर्गा या अंडा छोड़ दें, लेकिन अगर कोई दूसरा खा रहा है तो उसे कैसे रोक सकते हैं? ये बेतुके बयान हैं।”
गरबा विवाद पर रमाशंकर राजभर ने बीजेपी पर भारत की संस्कृति और सभ्यता को नहीं समझने का आरोप लगाया।
उन्होंने कहा, “जिन्हें भारत की सभ्यता और संस्कृति का ज्ञान नहीं, वही ऐसे बयान देते हैं। बीजेपी समर्थकों को भारत की संस्कृति का ज्ञान नहीं। जो लोग गरबा में रुचि रखते हैं, वे भारत की संस्कृति को आगे बढ़ाना चाहते हैं। बीजेपी संस्कृति और सभ्यता विरोधी है।”
रमाशंकर राजभर ने बीजेपी पर तंज कसते हुए कहा, “जब से पीडीए (पिछड़ा, दलित, अल्पसंख्यक) एकजुट हुआ है, तब से बीजेपी बौखलाई हुई है। मैं मांग करता हूं कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री और मंत्री अपने नेम प्लेट से जाति सूचक नाम हटाएं। मर्यादा पुरुषोत्तम राम या परशुराम ने कभी अपने नाम के आगे तिवारी या शुक्ल नहीं लगाया।”
–आईएएनएस