नई दिल्ली। प्रसिद्ध सामाजिक कार्यकर्ता तीस्ता सीतलवाड़ की रिहाई की मांग को लेकर आज देश भर में धरना प्रदर्शन आयोजित किया गया और 2000 से अधिक लेखकों, बुद्धिजीवियों और मानवाधिकार कार्यकर्ताओं ने उनकी रिहाई के लिए हस्ताक्षर अभियान चलाया।
गौरतलब है कि गुजरात दंगे के गुलबर्ग सोसायटी हिंसा के मामले में उच्चत्तम न्यायलय द्वारा जाकिया जाफरी की याचिका खारिज होने के बाद तीस्ता सीतलवाड़ और गुजरात के पूर्व डीजीपी बी श्रीकुमार को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया जिसकी देश भर में काफी तीखी प्रतिक्रिया हुई है।
इस घटना के विरोध में आज दिल्ली बेंगलुरु कोलकाता भोपाल पटना रांची मुंबई आदि शहरों में तीस्ता सीतलवाड़ और श्री कुमार की रिहाई की मांग को लेकर धरना प्रदर्शन आयोजित किया गया और लोगों ने हाथों में तख्तियां तथा बैनर लेकर मोदी सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी भी की।
राजधानी में यह धरना प्रदर्शन शाम को जंतर मंतर पर आयोजित किया गया जिसमें सहमत, अनहद जनवादी लेखक संघ, भारतीय महिला फेडरेशन, जन नाट्य मंच समेत कई संगठनों के लोगों ने गीत गाकर और कविता पाठ कर एवं जनसभा को संबोधित कर तीस्ता सीतलवाड़ की अविलम्ब रिहाई की मांग की और कहा कि उच्चतम न्यायालय के इस कदम से देश में लोगों का न्यायालय पर से भरोसा उठ गया है क्योंकि न्यायालय ने न्याय की गुहार करने वाले को ही कटघरे में खड़ा कर दिया है और देश के न्यायिक इतिहास में पहली बार हुआ। इस तरह मोदी सरकार ने यह संदेश न्यायालय के माध्यम से दिलवाया है कि कोई भी व्यक्ति सरकार के खिलाफ आवाज नहीं उठा सकता है
इस बीच 2230 लोगों ने हस्ताक्षर कर इस घटना की कड़ी निंदा की है और विरोध जताया है।इंसमे मेधा पाटकर एडमिरल राम दास , सईदा हमीद शबाना आजमी शबनम हाशमी डाक्टर अपूर्वा नंद अरुणा राय कविता श्रीवास्तव संदीप पांडेय गौहर रज़ा आदि शामिल हैं।